जयपुर, 20 फरवरी। सामाजिक न्याय एवम अधिकारिता विभाग के शासन सचिव डॉ समित शर्मा द्वारा सोमवार को पेंशनर्स का फेस रिकाग्निशन आधारित वार्षिक भौतिक सत्यापन के लिए लांच किए गए मोबाइल ऐप का UIDAI, भारत सरकार के समक्ष प्रस्तुतिकरण दिया गया।
उन्होंने प्रस्तुतिकरण के दौरान बताया कि राज्य में सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजनाओं के तहत सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग द्वारा सात विभिन्न पेंशन योजनाओं का संचालन किया जा रहा है। इन योजनाओं से वृद्धजन, एकल नारी, विशेष योग्यजन के साथ-साथ लघु एवं सीमान्त कृषकों को लाभ प्रदान किया जा रहा है।
शासन सचिव ने कहा कि इन योजनाओं के अन्तर्गत लगभग 94 लाख पेंशनर्स को प्रति माह रुपये 500 से रुपये 1500 तक पेंशन प्रदान की जाती है। आगामी वित्तीय वर्ष से पेंशनर्स को प्रति माह देय न्यूनतम राशि रुपये 500 से बढ़ा कर रुपये 1000 कर दी गई है। राज्य स्तर से संचालित अथवा राष्ट्रीय पेंशन योजनाओं में लाभार्थियों को समान राशि देय होती है।
उन्होंने बताया कि वर्ष 2017 से सभी पेंशन योजनाओं के ऑनलाइन आवेदन आवेदक के बॉयोमैट्रिक सत्यापन के उपरान्त ही प्राप्त किए जा रहे है। साथ ही पेंशनर्स के वार्षिक भौतिक सत्यापन में भी बॉयोमैट्रिक आधारित सत्यापन का महत्वपूर्ण योगदान रहा है।
देश भर में सर्वप्रथम—
उन्होंने कहा कि बॉयोमैट्रिक माध्यम से अपवादस्वरूप कुछ पेंशनर्स का वार्षिक भौतिक सत्यापन नहीं हो पा रहा था, जिसको ध्यान रखते हुए विभाग ने फेस रिकाग्निशन आधारित वार्षिक सत्यापन वर्ष 2023 के लिए वार्षिक भौतिक सत्यापन करने की दिशा में आधार FACE RD App का उपयोग करते हुए एक मोबाइल एप्प RAJSSP 13 फरवरी 2023 को लांच किया गया था। उन्होंने कहा कि सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजनाओं में पेंशनर्स के फेस रिकॉग्निजेशन आधारित वार्षिक सत्यापन करने वाला राजस्थान देश में पहला राज्य है।
निशुल्क है आवेदन—
उन्होंने कहा कि इस एप्प के माध्यम से सप्ताह भर में ही लगभग 6 हजार से अधिक लाभार्थियों का भौतिक सत्यापन फेस रिकाग्निशन तकनीक के माध्यम से निशुल्क किया जा चुका है, जबकि अन्य प्रकिया में पेंशनर को ई मित्र केंद्र पर जाना पड़ता है और 50 रुपए शुल्क भी अदा करने होते है। फेस रिकॉग्निजेशन आधारित वार्षिक सत्यापन प्रकिया निशुल्क है।
यूं किया जा सकता है सत्यापन—
उन्होंने बताया कि सत्यापन की प्रक्रिया बेहद सरल है।जिस मोबाइल से पेंशनर का भौतिक सत्यापन किया जाना है उस पर RAJSSP मोबाइल एप्प के साथ-साथ FACE RD APP को भी इन्स्टॉल किया जाना होगा। ऐप का उपयोग करते समय जिस मोबाइल से सत्यापन का कार्य किया जाना है उस मोबाइल का ओटीपी के माध्यम से सत्यापन किया जाता है।
इसके उपरान्त पेंशनर का पेंशन भुगतान आदेश क्रमांक (PPO No.)अंकित करने पर पेंशनर का आधारभूत विवरण यथा नाम, पिता/पति का नाम, योजना का नाम एवं मास्क किया हुआ आधार नम्बर प्रदर्शित होता है।
उन्होंने बताया कि फेस रिकाग्निशन का चयन करने पर मोबाइल का कैमरा प्रारम्भ हो जाता है जिसके माध्यम से पेंशनर का लाइव फोटा केप्चर करना होगा, सही प्रकार से फोटो केप्चर होने के उपरान्त यह डाटा आधार पोर्टल पर अग्रेषित हो जाता है एवं वहां से प्राप्त सूचना के आधार पर पेंशनर को सत्यापित अथवा सत्यापन निरस्त कर दिया जाता है।
एक मिनट से भी कम समय ही हो जाता है सत्यापन—
शासन सचिव ने बताया कि सत्यापन का कार्य पूर्ण होने के उपरान्त एक सत्यापन रसीद मोबाइल स्क्रीन पर प्रदर्शित होती है, जो पीडीएफ में डाउनलोड पेंशनर को सुलभ संदर्भ हेतु उपलब्ध है।
इस सम्पूर्ण प्रक्रिया में एक मिनिट से भी कम समय लगता है।
डोर स्टेप सत्यापन—
उन्होंने बताया कि इस ऐप के माध्यम से वार्षिक भौतिक सत्यापन का कार्य पेंशनर के घर पर ही हो जाता है। इससे ऐसे पेंशनर्स को विशेष रूप से लाभ हो रहा है जो अधिक आयु व शारीरिक अक्षमता के कारण स्वयं के घर से बाहर नहीं जा सकते हैं।
डॉ शर्मा ने बताया कि लगभग 94 लाख पेंशनर्स को ऐप के माध्यम से लाभान्वित करने की दृष्टि से इसका व्यापक प्रचार प्रसार किया जा रहा है।
उन्होंने बताया की प्रथम चरण में पेंशनर्स का फेस रिकॉग्निशन के माध्यम से वार्षिक भौतिक सत्यापन किया गया है और अगले सप्ताह तक आयरिस(iris) के माध्यम से भी सत्यापन प्रकिया प्रारंभ कर दी जाएगी। उन्होंने कहा कि दूसरे चरण में फेस रिकाग्निशन के माध्यम से पेंशनर घर बैठे ऑनलाइन आवेदन भी कर सकेंगे।
वी सी के माध्यम से लाइव डेमोंस्ट्रेशन को यू आई डी ए आई ने सराहना की। इस दौरान National Informatics centre, सूचना प्रौद्योगिकी विभाग एवं समाज कल्याण विभाग के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।